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Nextनई दिल्ली। सुप्रीम कोर्ट की ओर एससी-एसटी एक्ट में बदलाव के खिलाफ आज कई पार्टियों और संगठनों के कार्यकर्ताओं ने भारत बंद का आह्वान किया है। इस दौरान कई संगठन और राजनीतिक पार्टियां सडक़ पर विरोध प्रदर्शन किया जा रहा है। इसके मद्देनजर कई राज्यों में एहतियातन सुरक्षा बंदोबस्त किए गए है। संगठनों की मांग है कि अनुसचित जाति, जनजाति अत्याचार निवारण अधिनियम 1989 में संशोधन को वापस लेकर एक्स को पूर्व की तरह लागू किया जाए।
वहीं केंद्र सरकार ने कहा है कि वह एससी-एसटी एक्ट पर सुप्रीम कोर्ट के आदेश के खिलाफ आज पुनर्विचार याचिका दायर करेगी। एससी-एसटी ऐक्ट के खिलाफ भारत बंद का असर बिहार में भी देखने को मिल रहा है। आरा, अररिया और जहानाबाद में प्रदर्शनकारियों को ट्रेनें रोक दी हैं। ओडिशा के सम्बलपुर जिले में भी दलित संगठनों ने ट्रेनें रोक दीं। पंजाब में स्कूल, कॉलेज, परिवहन सेवा और इंटरनेट सेवाओं को बंद कर दिया गया है। इसके साथ ङी पंजाब स्कूली शिक्षा बोर्ड की दसवीं और बारहवीं के आज होने वाली प्रैक्टीकल परीक्षाएं अब ग्यारह अप्रैल को होंगी। पंजाब में सीबीएसई ने भी 10वीं और 12वीं की परीक्षा को स्थगित कर दी हैं। बिहार और ओडिशा में सुबह से ही प्रदर्शनारियों ने रेल ट्रैक जामकर ट्रेन रोक दी और हाईवे पर भी जाम लगा दिया है। ।
उधर, छत्तीसगढ़ में भारत बंद को कांग्रेस और जोगी कांग्रेस ने पूरा समर्थन देने का ऐलान किया है। दूसरी ओर हरियाणा में ऑल हरियाणा एससी इम्प्लाइज फेडरेशन और समस्त एससी समाज के प्रतिनिधियों ने कई कालोनियों और कार्यालयों का दौरा कर 2 अप्रैल को विशाल प्रदर्शन में शामिल होने की अपील की है।
राजस्थान के हनुमानगढ़ जिले के टिब्बी कस्बे के डॉ. अंबेडकर भवन में रविवार को एससी, एसटी संघर्ष समिति की बैठक आयोजित हुई। इस बैठक में अनुसूचित जाति, जनजाति अत्याचार निवारण अधिनियम 1989 में संशोधन पर विरोध जताते हुए एक्ट को पूर्व की भांति पुन: लागू कराने की मांग को लेकर सोमवार को भारत बंद का समर्थन किया। भारत बंद के समर्थन के साथ ही संघर्ष समिति ने कस्बे में शांति मार्च निकाल कर एसडीएम को राष्ट्रपति के नाम ज्ञापन देने का निर्णय लिया।